किडनी रोग के लिए योग और आयुर्वेद
किडनी रोग के लिए योग और आयुर्वेद – Kidney Rog Ke Liye Yog Aur Ayurved
किडनी रोग में योग और आयुर्वेद का क्या महत्व है – Kidney rog mein yog aur ayurved ka kya mahattv hai?
आयुर्वेद के अनुसार, गलत खानपान और शरीर में जमा हुई गंदगी (टॉक्सिन्स) किडनी पर बुरा असर डालते हैं। पंचकर्म, औषधीय जड़ी-बूटियाँ काढ़ा किडनी की शुद्धि और कार्यक्षमता बढ़ाने में सहायक होते हैं। वहीं योगासन ब्लड सर्कुलेशन को बैलन्स करते हैं और स्ट्रेस कम करके किडनी को हेल्थी रखने में मदद करते हैं। इस प्रकार, किडनी रोगियों के लिए योग और आयुर्वेद का जोड़ एक सुरक्षित, प्रभावी और लंबे समय तक लाभ देने वाला समाधान माना जाता है, जिससे डायलिसिस या ट्रांसप्लांट की नौबत टाली जा सकती है। लेकिन, पहले किडनी रोग के कारण समझ लेने चाहिए ताकि इलाज में आसानी हो।
किडनी रोग के कारण – Kidney rog ke karan
- हाई बी पी
- डायबिटीज़
- ज़्यादा दवाएँ लेना खासकर NSAIDs
- मोटापा
- गलत डाइट
- पानी की कमी
किडनी रोग में फायदेमंद योगासन – Kidney rog mein faydemand yogasan
1. भुजंगासन (Cobra Pose)
यह आसन रीढ़ को स्ट्रॉंग बनाता है और पेट के अंगों, खासकर किडनी पर अच्छा असर डालता है। इससे ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है और किडनी में जमा हुए टॉक्सिन बाहर निकलने में मदद मिलती है।
2. वज्रासन (Diamond Pose)
खाने के बाद करने योग्य यह आसन डाइजेशन सुधारता है। सही पाचन से शरीर में वेस्ट मटेरियल कम बनते हैं, जिससे किडनी पर बोझ घटता है।
3. पवनमुक्तासन (Wind Relieving Pose)
यह आसन गैस, कब्ज और डाइजेशन से जुड़ी दिक्कतें कम करता है। शरीर से ज़हरीले तत्त्व बाहर करने में सहायक होता है और किडनी पर पोज़िटिव इफेक्ट डालता है।
4. सेतु बंधासन (Bridge Pose)
इससे रीढ़ और पेट के अंगों में खिंचाव आता है। किडनी, लिवर और पाचन अंगों को ऐक्टिव कर उनकी कार्यक्षमता बढ़ाता है।
5. अनुलोम-विलोम (Alternate Nostril Breathing)
यह प्राणायाम स्ट्रेस दूर करता है और ब्लड प्रेशर कंट्रोल रखता है जिससे किडनी को बड़ा फायदा मिलता है।
6. कपालभाति प्राणायाम
इससे शरीर में ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ती है। खून साफ़ होता है और किडनी की कार्यक्षमता बेहतर होती है।
किडनी रोग में असरदार आयुर्वेदिक दवा – Kidney rog mein asardar ayurvedic dawa
अनुभवी आयुर्वेदिक डॉक्टर की सलाह के साथ ईन दवाओं का इस्तेमाल करने से किडनी रोग का आयुर्वेदिक उपचार किया जा सकता है।
- गोखरू (Gokshura): यह पेशाब बढ़ाने वाली दवा है जिससे पेशाब में जलन, बार-बार पेशाब आना और पेशाब में रुकावट जैसी दिक्कतें दूर होती हैं। यह किडनी को साफ कर उसकी कार्यक्षमता बढ़ाता है।
- पुनर्नवा (Punarnava): किडनी की सूजन कम करने के लिए इसका इस्तेमाल किया जाता है। यह बॉडी से एक्स्ट्रा पानी और टॉक्सिन निकालकर सूजन, ब्लड प्रेशर और यूरिक एसिड को कंट्रोल करने में मदद करती है।
- वरुण (Varun): वरुण वृक्ष की छाल और जड़ किडनी स्टोन और मूत्राशय की बीमारियों में फायदेमंद है। यह पेशाब के रास्ते में सफाई करता है और किडनी को नेचुरली मजबूत बनाता है।
- त्रिफला (Triphala): आँवला, हरड़ और बहेड़ा से बनी त्रिफला डाइजेशन सुधारती है और शरीर से ज़हरीले तत्त्व बाहर निकालती है। यह खून साफ़ करके किडनी के बोझ को कम करती है।
- कुलथी दाल (Kulthi Dal): आयुर्वेद में इसे किडनी स्टोन तोड़ने और पेशाब से जुड़ी दिक्कतें दूर करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। इसका काढ़ा किडनी रोगियों के लिए बेहद फायदेमंद है।
- चंद्रप्रभा वटी: इससे किडनी, मूत्राशय और पाचन तंत्र की समस्याएं ठीक की जा सकती हैं।
- निरगुंडी (Nirgundi): इसमें सूजन कम करने और दर्द दूर करने की क्षमता होती है। किडनी इंफेक्शन या सूजन की समस्या में निरगुंडी उपयोगी है।
FAQ
क्या आयुर्वेदिक दवा से डायलिसिस टाला जा सकता है – Kya ayurvedic dawa se dialysis taala jaa sakta hai?
हाँ, कई मामलों में सही आयुर्वेदिक दवा और जीवनशैली अपनाकर डायलिसिस टाला जा सकता है, लेकिन यह डॉक्टर की देखरेख में ही संभव है।
किडनी की सूजन में कौन सा योगासन फायदेमंद है – Kidney ki soojan mein kaun sa yogaasan faydemand hai?
सेतु बंधासन और पवनमुक्तासन सूजन कम करने और ब्लड फ्लो को सही करने में मददगार हैं।
क्या योग और आयुर्वेद से क्रिएटिनिन कम हो सकता है – Kya yog aur ayurved se creatinine kam ho sakta hai?
रेगुलर योगाभ्यास और आयुर्वेदिक औषधियों से ब्लड साफ़ होता है और शरीर से टॉक्सिन बाहर निकलते हैं, जिससे क्रिएटिनिन का लेवल कंट्रोल हो सकता है।
क्या किडनी रोगी पंचकर्म करा सकते हैं – Kya kidney rogi panchkarm kara sakte hain?
हाँ, डॉक्टर की सलाह से पंचकर्म थैरेपी (विरेचन, बस्ती आदि) किडनी रोग में गंदगी बाहर निकालने और किडनी को डिटॉक्स करने में मदद करती है।
निष्कर्ष
आज के इस ब्लॉग में हमनें आपको बताया कि किडनी रोग के लिए योग और आयुर्वेद का क्या महत्व है। लेकिन, आप सिर्फ़ इस जानकारी या सुझावों पर निर्भर ना रहें। अगर आपको या आपके किसी साथी/रिश्तेदार को किडनी की समस्या है तो तुरंत किसी डॉक्टर से संपर्क ज़रूर करें या कर्मा आयुर्वेदा अस्पताल में भारत के बेस्ट आयुर्वेदिक डॉक्टर से अपना इलाज करवा सकते हैं। हेल्थ से जुड़े ऐसे और भी ब्लॉग्स और आर्टिकल्स के लिए जुड़े रहें कर्मा आयुर्वेदा के साथ।